व्यक्तित्व निर्माण के पहलू

आपका मेरा हम सभी का जीवन हम चाहे या ना चाहे कई प्रकार की परिस्थिति से गुजरता है। पहले बचपन फिर किशोरावस्था, उसके बाद कई सपनों को जीवन में जीते हुए हम अपने जीवन का सफर तय करते हैं। कई अनुकूल प्रतिकूल अवसर हमारी जिंदगी में इस दौरान आते हैं।


अगर बहुत ध्यान से हम किसी भी महापुरुष या सफल बिजनेसमैन या कोई भी प्रेरक व्यक्तित्व, जिससे हमें संघर्ष का हौसला मिलता हो को देखे ,तो पाएंगे उन्होंने अपने जीवन काल में अपने मूल्यों पर पूर्ण दृढ़ता से अमल किया व उसके अच्छे परिणाम उन्हें प्राप्त होते गए।

विशेषकर मेरे युवा मित्रों, जीवन की शुरूआत बाल्यकाल से ही शुरू हो जाती है। आप अगर दृढ़तापूर्वक अपने मूल्यों पर टिके रह पाते हैं तो जीवन में कई असाधारण उपलब्धियों के मालिक आप बन सकते हैं। विपरीत परिस्थितियों को हम हमारे जीवन को निखारने का माध्यम समझे वह हमें संघर्ष करना सिखाती है उस संघर्ष के दौरान हमें कई प्रकार के अनुभवों से गुजरना होता है और हमें प्राप्त अनुभव हमारी "जिंदगी की कहानी" का निर्माण करते हैं।

इस समय में जो धैर्य धारण करना सीख जाता है वह अपने जीवन को धीरे-धीरे एक दिशा में अग्रसर करता जाता है। भाग्य की भूमिका केवल इतनी ही होती है कि वह हमें अवसर प्रदान करता है, उन अवसरों को हम अपनी बुद्धिमता से कैसे अपने पक्ष में मोड़ते हैं ,यह हम पर निर्भर करता है। निरंतर पुरुषार्थ करते रहने से निश्चित ही बदलाव आते लगता है।

हम किसी समस्या का गहराई पूर्वक चिंतन मनन करें तो वह समस्या स्वमेव ही उसके निदान के रास्ते बता देती है। मगर हम में से अधिकतर व्यक्ति संघर्ष को छोड़ देते हैं या पूर्ण रूप से उस पर अमल नहीं कर पाते हैं। कभी समाज पर,परिस्थितियों पर परिवार पर दोषारोपण कर बैठते हैं ,हम स्वयं कहां प्रयास में चूक रहे हैं उस पर हमारा ध्यान नहीं जाता व हम मानसिक परेशानी का शिकार हो जाते हैं।

जीवन में मूल्यों का अवमूल्यन हमें पतन की और बढ़ाता है व उन्हें धारण किये रहने से हमारे जीवन में उत्कृष्ट सोच का निर्माण होने लगता है। हम अपने स्वयं व औरो की प्रेरणा का स्त्रोत बन जाते हैं। निकृष्ट विचारधारा से अपने आप को दूर रखना संवाद सभी से बनाए रखना, अपने मूल्यों पर दृढ़ता पूर्वक पालन करने से हमें शक्ति प्राप्त होने लगती है व वह अच्छी ऊर्जा शक्ति हमे स्वमेव राह बताने लगती है।

समाज में, परिवार में हम अपना स्थान सहयोग, समन्वय के गुणों का अपनाकर ही कर सकते हैं, दूसरा कोई अन्य उपाय हमारी उन्नति का कारण नहीं बन सकता। उत्कृष्ट विचारधारा वाले व्यक्ति के संपर्क में रहने पर हमारे भीतर भी सकारात्मक ऊर्जा का संचार होने लगता है, किसी कारणवश निकृष्ट विचारधारा वाले लोगों का सामना भी करना पड़े तब भी आपकी उत्कृष्ट सोच ही आप का रक्षण उनके बीच में करेगी।


अपनी मानसिक शक्ति को हम अच्छे विचारों से ओतप्रोत रखेंगे तो जीवनी शक्ति का प्रादुर्भाव होता जाएगा। वहीं जीवनी शक्ति हमें अपने पथ पर आगे बढ़ाएगी। परेशानी का कारण केवल हमारा चिंतन होता है विपरीत चिंतन से हमारे परेशानी और बढ़ती है जबकि सही चिंतन हमें परेशानियों से बचाता है। चिंतन को सार्थक दिशा दें आप निश्चित समस्त प्रकार की बाधाओं का आसानी से मुकाबला कर पाएंगे।

प्रवाह मैं आज इतना ही शेष फिर,

आप सभी जुड़े रहे, मेरे ब्लॉग से जुड़ने पर आप सभी को तहे दिल से धन्यवाद, उन सभी को धन्यवाद जिन्होंने मुझे इस दिशा में लेखन के लिए प्रोत्साहन प्रदान किया आपका इस ब्लॉग को पढ़कर इसे समर्थन देना निश्चित ही मेरा भी हौसला बढ़ाएगा।

आपका अपना
सदैव सुख चिंतक
पुनः धन्यवाद ब्लॉग से जुड़ने के लिए, आप इसे पढ़ते रहें अपनी प्रतिक्रिया अवश्य दें मुझे अच्छा लगेगा।

इति शुभम भवतु।

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